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उत्तराखंड में महिलाओं के साथ हो रहे आपराधिक मामलों को लेकर कांग्रेस ने बीजेपी सरकार को घेरा है। कांग्रेस की मुख्य प्रवक्ता गरिमा दसौनी ने बीजेपी नेता पर नाबालिग लड़की से दुष्कर्म का जो आरोप लगा है उसको लेकर सरकार से जवाब मांगा है।
मुख्य प्रवक्ता गरिमा दसौनी ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के विधानसभा क्षेत्र में बीजेपी नेता पर नाबालिग लड़की के साथ दुष्कर्म का आरोप है जिससे पता चलता है कि प्रदेश में कानून व्यवस्था किस तरह से चरमरा गई है। गरिमा दसौनी का आरोप है कि सत्ता पक्ष के दबाव में पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मुकदमा तक दर्ज नहीं कर रही है। गरिमा दसौनी का आरोप है कि पुलिस ने पीड़िता और उसके मां को आठ घंटे तक थाने में बैठाए रखा, तभी कही जाकर पुलिस ने पीड़िता का मुकदमा दर्ज किया। गरिमा दसौनी का कहना है कि उत्तराखंड में होने वाले अधिकतर मामलों में बीजेपी नेता और कार्यकर्ता ही संलिप्त पाए जा रहे है। चंपावत के जिस मामले का कांग्रेस की मुख्य प्रवक्ता गरिमा दसौनी ने जिक्र किया है। उसमें नाबालिग पीड़िता ने बीजेपी नेता के खिलाफ थाने में तहरीर दी है जिसमें पीड़िता ने आरोप लगाया है कि आरोपी अप्रैल माह से उसका शारीरिक शोषण कर रहा है। उन्होंने नेशनल क्राइम रिपोर्ट ब्यूरो की ओर से जारी किए गए आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा कि आंकड़ों के अनुसार उत्तराखंड में एक साल यानी 2022 से 2023 में 907 बच्चियों के साथ दुष्कर्म और 778 बच्चियों के साथ अपहरण के मामले आए.वहीं उन्होंने उत्तराखंड हाई कोर्ट पर वन मंत्री सुबोध उनियाल की अभद्र टिप्पणी करते हुए एक वीडियो वायरल को लेकर भी अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने मुख्यमंत्री से इस मामले में व्यक्तिगत रूप से वन मंत्री के खिलाफ कार्रवाई की मांग उठाई हैय इसके साथ ही मंत्री सुबोध उनियाल से सार्वजनिक माफी मांगने की भी मांग की।